बीजेपी अपना हर काम हिंदुत्वा के नाम पर करती है हिंदु समाज की तरक्की उसका विकास बिजेपी का सवसे बड़ा ऐजेंडा माना जाता है बिजेपी के कुछ लीड़र और स्पोक पर्सन हर जगह कहते हैं कि हिंदु धर्म और हिंदु समाज खतरे में है उसकी फ्रिक हम नही करेंगे तो कौन करेगा लेकिन यह बिजेपी हिंदु औरतों पर बिल्कुल तबज्जो नही दे रही है हिंदुस्तान में सबसे ज्यादा हिंदु औरते जुल्म और नाइंसाफी की शिकार है इन्हे मंदिरो में पूजा करने की इजाजत नही दि पिछले साल सुप्रीम कोर्ट ने हिंदु औरतों को इंसाफ देते हुए सबरी माला मंदिर में जाने का हक दिया तो बिजेपी ने उसकी भी मुखालफत शुरु कर दी सुप्रीम कोर्ट के खिलाफ तहरिक चलाई और हिंदु औरतों को मंदिर जाने से रोका और अभी भी वो इसी ऐजेंडे पर काम कर रही हैं
हिंदुस्तान में इस वक्त तलाक का मसला मौजो बहस बन चुका है और बिजेपी का कहना है कि तलाक के नाम पर मुसलमान मर्द अपनी औरतों पर जुल्म करते हैं इसको रोकने के लिए बिजेपी कानून बना रही है पिछले पांच सालों में बिजेपा ने यही काम किया और अब नई हकूमत बनते ही बिजेपी सबसे पहला काम यही करने जा रही है लोकसभा में उसने तलाक बिल पेश भी कर दिया है और उम्मीद है यह बिल बहुत जल्दी पास भी हो जाएगा क्योकी बिजेपी की लोक सभा में अकसरियत है लेकिन राज्य सभा में बिल पास नही हो पाएगा क्योकि उसके पास अभी मेज्यूरिटी नही है जहां तक बात है तलाक के नाम पर जुल्म करने की तो इस मामले में इस हिंदुस्तान में सबसे ज्यादा जुल्म हिंदु औरतों पर ही होता है मुस्लमान औरतों पर नही हम यह बात यूं ही नही कह रहे है बल्की हमारे पास सबूत भी है एक रिपोर्ट के मुताअविक हिंदुस्तान में 68 फिसद तलाक शुदा औरत हिंदु ही है तो दूसरी तरफ मुस्मानों में तलाक शुदा औरते सिर्फ 23 फिसदी ही है
यह रिपोर्ट साफ बता रही है कि हिंदुस्तान में सबसे ज्यादा तलाक शुदा औरतें हिंदु ही हैं और मुस्लमानों में तलाक के वाक्यात बहुत कम है इस लिए यह जरुरी है कि हिंदु औरतों को तलाक से बचाया जाए और हिंदु औरतों पर उनके शौहर जो जुल्म कर रहे है उससे उनको निजात दिलाई जाए लेकिन बिजेपी इस मामले में भी हिंदु औरतो की कोई फ्रिर नही कर रही हैऔर मुस्लिम औरतों के साथ महरवानी के नाम पर कानून बना रही है
माहेरिन और तज्जिया निगारो का मानना है कि बिजेपी का तीन तलाक बिल मुस्लिम औरतों के खिलाफ है इससे उनकी फैमली तवाह होगी और मुस्लिम समाज की औरतें बिल्कुल भी इस बिल से खुश नही है पिछले साल हिंदुस्तान की 5 करोड़ मुस्लिम महिला ने अपने सिगनेचर के साथ लॉ कमिशन को यह बताया था कि हम इस्लाम के निजाम और शरियत के कानून से खुश है और बिजेपी का 3 तलाक बिल और कॉमन सिविल कोर्ट का ऐजेंडा हमें मंजूर नही है
हिंदुस्तान के तमाम मुस्लमान मर्द और औरत इस 3 तलाक बिल के खिलाफ है और उनका मानना है कि इस बिल से उनकी परेशानी बडेगी जहां तक बात है मुस्लमान औरतों को बराबरी का दरजा देने और उनके साथ इंसाफ करने की तो यह बात जानना जरुरी है इस्लाम दुनिया का अकेला धर्म है जिसमें औरतों के साथ इंसाफ किया है उनको उनका हक दिया है और तलाक भी मुस्लिम औरतो के लिए एक रहमत है परेशानि
शौहर और वीवी का जब एक साथ रहना मुशकिल हो जाता है तो तलाक और खुला के जरीए…मर्द और औरत दोनों को हक मिलता है कि वो शादी कर लें और जिंदगी गुजारे
बिजेपी को अगर औरतों की फ्रिक ही है तो पहले वो हिंदु औरतों की फ्रिक करे और उनके साथ होने वाले जुल्म से उनको बचाए मुस्लिम औरतों के लिए उनका कुरान ही काफी है
(लेखक:मिल्लत टाइम्स के एडिटर है)