कर्नाटक:कांग्रेस ने पूछा-क्या येदि ने नेताओं को 1800 करोड़ की घूस दी,भाजपा बोली-कहानी झूठी

मिल्लत टाइम्स,नई दिल्ली:कांग्रेस ने शुक्रवार कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा की एक कथित डायरी का जिक्र करते हुए सवाल उठाए। रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि येदियुरप्पा की एक डायरी मिली है, जिसमें उनके हस्ताक्षर भी हैं। इस डायरी में येदि के सीएम रहते हुए बड़े भाजपा नेताओं को 1800 करोड़ रु. की घूस देने का जिक्र है। इसमें राजनाथ और अरुण जेटली जैसे नाम हैं।

सुरजेवाला ने कहा कि हमारा मकसद कीचड़ उछालना नहीं है। हमारासवाल है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा इसकी जांच क्यों नहीं कराते? यह सच है, या झूठ?प्रधानमंत्री सामने आएं और हमें यह बताएं कि भाजपा के बड़े नेताओं को 1800 रु. की घूस दी गई थी, या नहीं।

डायरी में राजनाथ सिंह,जेटली जैसे नाम- कांग्रेस

सुरजेवाला ने कहा, ”2017 में अनंत कुमार और येदियुरप्पा की बातचीत की रिकॉर्डिंग मीडिया में आई थी। जिसमें हजारों करोड़ के पेमेंट की बात हो रही थी। इसका जिक्र एक डायरी में किया गया है। इस डायरी पर बीएस येदियुरप्पा के हस्ताक्षर हैं। येदियुरप्पा के कर्नाटक के सीएम रहते हुए भाजपा के बड़े नेताओं को 1800 करोड़ रु. की घूस देने का आरोप लग रहा है।”

उन्होंने कहा,”राजनाथ सिंह और अरुण जेटली जैसे नाम डायरी में दर्ज हैं। यह डायरी इनकम टैक्स डिपार्टमेंट के पास 2017 से ही है। अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा इसकी जांच क्यों नहीं करवाते हैं? यह सच है या झूठ है? यह केवल कर्नाटक की बात नहीं है।”

‘मोदी इसकी जांच करवाएं’

सुरजेवाला ने कहा, ”इस डायरी में भाजपा के एक दर्जन मंत्रियों और बड़े नेताओं का नाम है। ये लोग जिम्मेदार पदों पर हैं, 5 साल से सरकार चला रहे हैं और इसलिए इस डायरी की जांच होनी चाहिए। ये खुलासा एक न्यूज मैग्जीन द्वारा किया गया है। हम यहां किसी पर कीचड़ नहीं उछालना चाहते हैं। हम यह चाहते हैं कि प्रधानमंत्री मोदी इसकी जांच करवाएं और यह सामने आ जाए कि ये आरोप सच हैं, या झूठ।”

येदियुरप्पा ने कहा- कांग्रेस की कहानी झूठी, मानहानि का दावा करेंगे
बीएस येदियुरप्पा ने आरोपों पर कहा- कांग्रेस और उसके नेताओं के पास कोई आइडिया नहीं बचा है। वे मोदीजी की बढ़ती लोकप्रियता से हताश हो गए हैं। वे जंग शुरू होने से पहले ही हार गए हैं। इनकम टैक्स विभाग के अधिकारी पहले ही यह साबित कर चुके हैं कि ये दस्तावेज जाली हैं। कांग्रेस ने मीडिया में यह कहानी आगामी लोकसभा चुनावों में फायदा उठाने के लिए गढ़ी है। कांग्रेस नेताओं ने जो मुद्दा उठाया है, वह झूठा और संदर्भ से परे है। मैं वकीलों के साथ बातचीत कर रहा हूं ताकि संबंधित व्यक्ति के खिलाफ मानहानि का दावा कर सकूं।

भाजपा ने कहा- राहुल को खुद भी आज के आरोपों में दम नहीं लगा

रविशंकर प्रसाद ने कांग्रेस की प्रेस कॉन्फ्रेंस पर कहा- कांग्रेस ने बड़ा खुलासा करने का दावा किया था। हम राहुलजी के अवतरण का इंतजार कर रहे थे। लेकिन, उनका अवतरण नहीं हुआ। उन्हें भी लग गया कि आज जो चीज कांग्रेस के द्वारा परोसी जाने वाली है, उसमें कोई दम नहीं था। उन्होंने कहा- मामा-बहनोई-ताऊ को बचाने में पूरी कांग्रेस पार्टी लगी है। जब कुछ नहीं बचता है तो वो झूठ पर उतर जाती है। सुबह से इंतजार करते-करते जब डेढ़ बजे मामला सामने आया तो लगा कि खोदा पहाड़ और निकली चुहिया और चुहिया भी नहीं िनकली, पहाड़ ही खोदते रह गए। “एक मैग्जीन में आर्टिकल छपता है, या छपवाया जाता है। उसके आधार पर प्रेस कॉन्फ्रेंस की जाती है। जस्टिस लोया की डेथ का मामला था। उनके परिवार ने कोई सवाल नहीं उठाया था। एक साल बाद एक आर्टिकल छपता है और इसी तरह के आरोप लगाए जाते हैं।’ प्रसाद ने कहा- हम कहानी बताना चाहते हैं। एक गोविंद राजू कर्नाटक में कांग्रेस के एमएलसी थे, वे पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया के राजनीतिक सलाहकार थे। उनके यहां पर रेड पड़ी तो उनके यहां डायरी मिली। उसमें आरजी का नाम था। “कांग्रेस के वरिष्ठ नेता हैं टी शिवकुमार। उनके यहां भी छापा पड़ा, ये किस्सा वहीं से शुरू होता है। 2 अगस्त 2017 को उनके यहां छापा पड़ा, उनकी कई चीजें पकड़ी गईं। कांग्रेस के सभी विधायकों को संभालने के लिए बेंगलुरू के बाहर उनका बहुत बड़ा मकान है। इस छापे के दौरान टी शिवकुमार आईटी के अफसरों को एक लूज शीट पकड़ा देते हैं।’ “टी शिवकुमार ने कहा कि ये डायरी के कुछ फोटोकॉपी किए हुए पन्ने हैं। उन्होंने कहा कि मैं राजनेता हूं, मुझे ये पन्ने लोगों से मिल जाते हैं। कांग्रेस ने इन्हीं पन्नों के आधार पर कॉन्फ्रेंस की।’ रविशंकर प्रसाद ने कहा- आईटी ने छापे के दौरान शिवकुमार से पूछा था कि क्या क्या आप इसे प्रमाणित करते हैं, क्या आपके पास इसकी मूल प्रति है। आईटी विभाग ने आज इस संबंध में बयान जारी किया कि टी शिवकुमार ने खुद कहा था कि इन पन्नों की सच्चाई के बारे में वे कुछ नहीं जानते हैं। येदियुरप्पा से पूछा तो उन्होंने कहा कि मैंने आजतक कोई डायरी नहीं लिखी। ये मेरे दस्तखत नहीं हैं। येदि जी ने साइन करके दिया है। “आईटी विभाग ने सेंट्रल फॉरेंसिक लेबोरेटरी के पास येदियुरप्पाजी के साइन भेजने की प्रक्रिया शुरू की। लेबोरेटरी ने कहा कि हमें डायरी के मूल पन्ने चाहिए। शिवकुमारजी से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि मेरे पास नहीं हैं। अपने को बचाने के लिए उन्होंने ये काम किया था। उन्होंने केस इसलिए नहीं किया, क्योंकि उन्हें खुद इसकी प्रामाणिकता का भरोसा नहीं था।’
आर्टिकल में किया गया डायरी के बारे में खुलासा

कारवान मैग्जीन में छपे आर्टिकल के मुताबिक, येदियुरप्पा ने 2009 की विधानसभा की डायरी में रकम दिए जाने का अपने हाथों से जिक्र किया है। इन एंट्रियों की कॉपी 2017 से आयकर विभाग के पास है। डायरी के पन्नों की कॉपी में लिखा है कि येदियुरप्पा ने केंद्रीय भाजपा समिति को 1000 करोड़ रु. दिए। इसमें लिखा है कि वित्त मंत्री अरुण जेटली और नितिन गडकरी को 150-150 करोड़ रु दिए गए। इसके अलावा राजनाथ सिंह को 100 करोड़ रु., लालकृष्ण आडवाणी और मुरली मनोहर जोशी को 50-50 करोड़ रु. दिए जाने का जिक्र है। इसके अलावा गडकरी के बेटे की शादी के लिए 10 करोड़ रु. दिए गए। इस डायरी में येदियुरप्पा ने कहा कि 250 करोड़ रु जजों और 50 करोड़ रु. वकीलों को विभिन्न केसों के लिए दिए गए। लेकिन, इनमें नामों का जिक्र नहीं है।(इनपुट भास्कर)

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is a young journalist & editor at Millat Times''Journalism is a mission & passion.Amazed to see how Journalism can empower,change & serve humanity