उमर ख़ालिद की गिरफ़्तारी पर जयपुर में विरोध प्रदर्शन, उठी UAPA रद्द करने की गूंज।

जयपुर। भारत की राजधानी दिल्ली में फ़रवरी में हुए नागरिकता कानून (CAA) के विरोध प्रदर्शन के बाद नॉर्थ ईस्ट दिल्ली के कई इलाकों में भड़के सांप्रदायिक दंगों के मामले में दिल्ली पुलिस ने बीते रविवार जेएनयू के पूर्व छात्र नेता उमर खालिद को गिरफ्तार कर लिया। खालिद पर अवैध गतिविधि रोकथाम अधिनियम (UAPA) के अलावा 18 अन्य धाराएँ लगाई गई हैं जिसके बाद उन्हें सोमवार को 10 दिन की पुलिस रिमांड पर भेज दिया गया है।

उमर की गिरफ्तारी के बाद देश के कई हिस्सों से तमाम जानी मानी हस्तियों और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने पुलिस की इस कार्यवाही के खिलाफ विरोध दर्ज करवाया, इसी क्रम में मंगलवार (15 सितंबर) को जयपुर के गांधी सर्किल पर प्रदेश की स्टूडेंट कम्युनिटी की तरफ से विरोध प्रदर्शन किया गया।

प्रदर्शन में विरोध दर्ज कराने पहुंची CPI नेता निशा सिद्धू ने कहा कि, दिल्ली दंगों में पुलिस की कार्यवाही पूर्वाग्रह से ग्रसित है, जिसको गिरफ्तार करना चाहिए वो तो खुलेआम घूम रहे हैं। पुलिस तमाम छात्रों और कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर हमारी आवाज़ दबाना चाहती है, जो लोकतंत्र में संभव नहीं है।

वहीं मजदूर किसान शक्ति संगठन के मुकेश गोस्वामी ने कहा कि, देश के प्रधानमंत्री तानाशाह की तरह व्यवहार कर रहे हैं और दिल्ली पुलिस दंगा भड़काने वालों की चापलूसी कर रही है जिसकी आड़ में निर्दोष लोगों को जेलों में भरा जा रहा है. उन्होंने राजस्थान पुलिस पर सवाल उठाते हुए कहा कि” अशोक गहलोत और अमित शाह की पुलिस में कोई फ़र्क़ नहीं रह गया. कांग्रेस को समझ लेना चाहिए कि उन्हें अब प्रताड़ितों के साथ खड़ा होना ही होगा”। इसके साथ ही राजस्थान समग्र सेवा संघ के सवाई सिंह का कहना था कि देश में लोकतंत्र का गला घोटा जा रहा है, विरोध की आवाज़ उठाने वाले देशद्रोही बनाये जा रहे हैं।

मालूम हो कि उमर खालिद पर CAA के खिलाफ दिल्ली में दंगा फैलाने की साजिश के आरोप लगे हैं। पुलिस के मुताबिक खालिद ने अमेरिका राष्ट्रपति डोनाल्‍ड ट्रंप की यात्रा के दौरान लोगों से सड़कों पर उतरने की अपील की थी। हालाँकि दिल्ली पुलिस की दंगों पर की जा रही जाँच पर सवाल उठ रहे हैं।

सामाजिक कार्यकर्ता राशिद हुसैन ने कहा की “ नागरिकता संशोधन अधिनियम के ख़िलाफ़ पूरे देश में शांति पूर्वक विरोध प्रदर्शन हुए जिसमें सभी धर्मों की संविधान संरक्षण की वकालत करने वाले लोग शामिल हुए. लेकिन भाजपा नेताओं ने अनर्गल बयान दिए जिससे साम्प्रदायिकता बढ़ी और दंगे भड़क उठे.” वहीं विरोध प्रदर्शन में नागरिक मंच से अनिल गोस्वामी, CPM नेता संजय माधव, AIRSO नेता रितांश आज़ाद, राशिद हुसैन, विजय स्वामी, मानस भूषण, अहमद कासिम जैसे कई सामाजिक कार्यकर्ता मौजूद रहे।

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is a young journalist & editor at Millat Times''Journalism is a mission & passion.Amazed to see how Journalism can empower,change & serve humanity