गाजा पर इजरायल की बमबारी, अब तक 6 बच्चों समेत 24 की मौत

फोटो-REUTERS

नई दिल्ली :(रुखसार अहमद) इजरायल लगातार फिलिस्तीनियों पर हमला कर रहा है। इजरायली रॉकेटों ने गाजा के रिहायशी इलाके को निशाना बनाया। इजरायल के गाजा पर हमले के बाद ईरान ने चेतावनी दी है।

ईरान के इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स (IRGC) के प्रमुख ने कहा कि फिलिस्तीनी इजरायल के खिलाफ लड़ाई में अकेले नहीं है। हम उनके साथ हैं और यरूशलम को आजाद कराने का काम कर रहे हैं।

इसराइली कार्रवाई में अब तक 24 फ़लीस्तीनियों के मारे जाने और 200 से ज़्यादा लोगों के घायल होने की ख़बर है। मरने वालों में पीआईजे नेता तासीर जब्बारी सहित कई लड़ाके और छह बच्चे भी शामिल हैं। इसराइल की ताज़ा कार्रवाई के बाद इस्लामी देशों ने इन हमलों की कड़ी निंदा करते हुए इसराइल को इसके नतीज़े भुगतने की धमकी दी है।

सऊदी अरब, ईरान, पाकिस्तान, मिस्र, संयुक्त अरब अमीरात, क़तर जैसे इस्लामिक देशों ने इसराइल की ताज़ा कार्रवाई पर फ़लीस्तीन के प्रति अपना गहरा समर्थन भी जताया है। सऊदी अरब ने फ़लीस्तीनियों के प्रति अपना समर्थन जताते हुए गज़ा पर इसराइल की ताज़ा कार्रवाई की कड़ी निंदा की है।

सऊदी अरब के विदेश मंत्रालय की ओर से सोशल मीडिया साइट ट्विटर पर जारी बयान में अंतरराष्ट्रीय समुदाय से ताज़ा संघर्ष को ख़त्म करने के लिए अपनी ज़िम्मेदारी निभाने का आह्वान करते हुए कहा है कि वे गज़ा के आम लोगों को सुरक्षा मुहैया कराएं। उसने दोनों देशों के बीच दशकों से जारी इस विवाद को ख़त्म करने की भी अपील की है।

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अल-जज़ीरा के अनुसार ईरान के इस्लामिक रिवॉल्युशनरी गार्ड कोर (आईआरजीसी) के प्रमुख मेजर जनरल हुसैन सलामी ने एक न्यूज़ वेबसाइट से यह बात कही है। उन्होंने कहा, ”यरुशलम को मुक्त कराने और फलीस्तीनियों के हक़ को बनाए रखने के लिए काम करने वाले यहूदी विरोधी सभी जिहादी शक्तियां आज एकजुट हैं।

पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने भी इसराइल के ताज़ा हमले की कड़ी निंदा की है। पाकिस्तान के अनुसार, इसराइल के ताज़ा हमले अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकारों और मानवीय क़ानूनों की पूरी अवहेलना करते हुए दशकों से बेगुनाह फ़लीस्तीनियों के साथ हो रहे इसराइली अत्याचार, उसके अवैध कार्य और अंधाधुंध बल प्रयोग का नमूना है।

ईरान की राजधानी तेहरान के दौरे पर गए इस्लामिक नेता जियाद अल नखला से उन्होंने कहा, ”हम अंत तक इस राह पर आपके साथ हैं। आप फ़लीस्तीन और फलीस्तीनियों को बताएं कि वे अकेले नहीं हैं। सलामी ने कहा है कि फ़लीस्तीन के जवाब से पता चलता है कि वहाँ एक नया अध्याय शुरू हो गया है और हाल के अपराध के लिए इसराइल को भारी क़ीमत चुकानी होगी। उनके अनुसार, फ़लीस्तीन का प्रतिरोध आज पहले की तुलना में कहीं मज़बूत है।

उधर मिस्र ने कहा है कि वह दोनों देशों के साथ मिलकर दिन रात काम कर रहा है ताकि हालात और न बिगड़े और क्षेत्र में शांति और स्थिरता बहाल हो। मिस्र के राष्ट्रपति अब्देल फतेह अल सिसि ने काहिरा में एक कार्यक्रम में शनिवार को कहा, ”हमने हालात को काबू से बाहर न जाने देने और लड़ाई रोकने के लिए दिन रात हर किसी से संपर्क किया है।

वहीं संयुक्त अरब अमीरात ने गज़ा पट्टी में शांति बहाली की ज़रूरत बताते हुए ताज़ा तनाव को घटाने और आम लोगों की ज़िंदगी बचाने पर ज़ोर दिया है।  यूएई के विदेश मंत्रालय की ओर से जारी बयान में ताज़ा संघर्ष को लेकर गहरी चिंता जताते हुए ताज़ा हिंसा और अस्थिरता रोकने के लिए अधिकतम संयम बरतने की अपील की गई है। क़तर के विदेश मंत्रालय ने दुनिया से तुरंत पहल करने की अपील की है ताकि आमलोगों ख़ासकर महिलाओं और बच्चों पर हो रहे हमले रूके।

 

 

 

 

 

 

 

 

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