दिल्ली में मंकीपॉक्स का पहला केस आया सामने

नई दिल्ली: एलएनजेपी अस्पताल निदेशक सुरेश कुमार, “व्यक्ति को 2 दिन पहले भर्ती कराया गया था। उसे बुखार और त्वचा पर लाल चकत्ते थे। हमने उसे निगरानी में रखा।

बाद में उसके नमूने पुणे भेजे गए और आज हमें रिपोर्ट मिली, जिसमें वह मंकी पॉक्स के लिए सकारात्मक पाया गया। एसओपी के अनुसार, उनका इलाज किया जा रहा है। हालांकि उसकी कोई विदेश यात्रा की अभी हिस्ट्री सामने नहीं आई है। भारत में अभी तक मंकीपॉक्स के चार मामले सामने आ चुके हैं, इसमें से तीन केरल है। बता दें विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कहा है कि 70 से अधिक देशों में मंकीपॉक्स का प्रसार एक वैश्विक आपात स्थिति है।

शनिवार को उसके सैंपल नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (एनआईवी) पुणे भेजे गए थे, जो पॉजीटिव पाए गए. डब्ल्यूएचओ की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि 1 जनवरी 2022 से और 22 जून 2022 तक कुल 3413 मंकीपॉक्स के मामलों की पुष्टि हुई है और ये मामले 50 देशों सामने आए है. डब्ल्यूएचओ को मंकीपॉक्स से  एक मौत की सूचना मिली है। इनमें से अधिकांश मामले यूरोपीय क्षेत्र (86%) और अमेरिका (11%) से सामने आए हैं।

इस महीने की शुरुआत में  केंद्र ने राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों से मंकीपॉक्स के किसी भी संदिग्ध या पुष्ट मामले के प्रबंधन के लिए पर्याप्त मानव संसाधन सुनिश्चित करने, साजो-सामान संबंधी समर्थन के साथ अस्पतालों को चिह्नित करने को कहा था।

केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने एक पत्र लिखकर कहा था  डब्ल्यूएचओ के अनुसार 50 देशों से उसे मिली जानकारी के अनुसार एक जनवरी से 22 जून तक प्रयोगशालाओं में पुष्ट मंकीपॉक्स के 3,413 मामले सामने आये हैं और एक मरीज की मृत्यु हुई है। उन्होंने कहा कि इनमें से अधिकतर मामले यूरोपीय क्षेत्र और अमेरिका महाद्वीप से आये हैं।

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