नई दिल्ली:(रुखसार अहमद) करीब एक साल तक किसानों ने तीन केंद्रीय कृषि कानून के खिलाफ सड़कों पर आंदोलन किया। वहीं आज गुरुनानक जयंती पर पीएम मोदी ने इन कानून को रद्द करने का ऐलान कर दिया है। पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले केंद्र सरकार ने बड़ा फैसला लिया है।
आखिर किसानों ने सरकार को अपने आगे झूकने पर मजबूर कर दी दिया। कृषि कानूनों पर सोशल मीडिया के जरिए एक जंग छिड़ गई है। कई नेता और पत्रकार समेत ट्विर पर पीएम मोदी को ट्रोल भी कर रहे है, कुछ उनका साथ दे रहे है। आइए जानें पीएम के इस फैसले पर किसने क्या- क्या कहा….
मोदी सरकार के फैसले पर एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि चुनाव और आम लोगों के प्रतिरोध आंदोलन के आगे पीएम मोदी को झुकना ही पड़ा। उन्होंने कहा कि तीनों कृषि कानून शुरू से ही असंवैधानिक रहे हैं और सरकार के अहंकार की वजह से ही किसानों को सड़कों पर उतरना पड़ा।
अगर सरकार जिद न करती तो 700 से अधिक किसानों को अपनी जान न गंवानी पड़ती. ओवैसी ने कहा कि पीएम मोदी के सामने यूपी व पंजाब में चुनाव के चलते और कोई विकल्प ही नहीं था। उन्होंने यह भी कहा कि यह ‘एक देश-एक चुनाव’ लागू न करने का एक वाजिब वजह है और सत्तासीन पार्टी को पूरे कार्यकाल के दौरान लोकतंत्र के प्रति जवाबदेह होना चाहिए।
कृषि क़ानूनों को वापस लेना देश की अहंकारी सरकार की हार है। हम CAA क़ानून को वापस लेने की मांग करते हैं। – बैरिस्टर @asadowaisi #FarmLawsRepealed #मोदी_का_घमंड_हारा #CAANRC #CAA #NRC #NPR https://t.co/y8BYLBoPgp
— AIMIM (@aimim_national) November 19, 2021
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने ट्विट करके केंद्र सरकार पर निशाना साधा। राहुल ने ट्विट करके लिखा कि, “देश के अन्नदाता ने सत्याग्रह से अहंकार का सर झुका दिया। अन्याय के खिलाफ ये जीत मुबारक हो!। वहीं कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने मोदी सरकार पर आरोपों की झड़ी लगा दीं।
देश के अन्नदाता ने सत्याग्रह से अहंकार का सर झुका दिया।
अन्याय के खिलाफ़ ये जीत मुबारक हो!जय हिंद, जय हिंद का किसान!#FarmersProtest https://t.co/enrWm6f3Sq
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) November 19, 2021
प्रियंका ने ट्वीट करके लिखा, “600 से अधिक किसानों की शहादत, 350 से अधिक दिन का संघर्ष, आपके मंत्री के बेटे ने किसानों को कुचल कर मार डाला, आपको कोई परवाह नहीं थी। आपकी पार्टी के नेताओं ने किसानों का अपमान करते हुए उन्हें आतंकवादी, देशद्रोही, गुंडे, उपद्रवी कहा, आपने खुद आंदोलनजीवी बोला।..उनपर लाठियां बरसाईं, उन्हें गिरफ्तार किया।
600 से अधिक किसानों की शहादत
350 से अधिक दिन का संघर्ष, @narendramodi जी आपके मंत्री के बेटे ने किसानों को कुचल कर मार डाला, आपको कोई परवाह नहीं थी।आपकी पार्टी के नेताओं ने किसानों का अपमान करते हुए उन्हें आतंकवादी, देशद्रोही, गुंडे, उपद्रवी कहा, आपने खुद आंदोलनजीवी बोला..1/3
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) November 19, 2021
फिल्म अभिनेता सोनू सूद ने लिखा, किसान वापिस अपने खेतों में आयेंगे। देश के खेत फिर से लहराएंगे। धन्यवाद नरेंद्र मोदी जी। इस ऐतिहासिक फैसले से किसानों का प्रकाश पूरब और भी ऐतिहासिक हो गया। कई लोगों ने मोदी के इस फैसले पर मेन स्ट्रीम मीडिया और सरकार को ट्रोल भी किया।
This is a wonderful news!
Thank you,@narendramodi ji, @PMOIndia, for taking back the farm laws. Thank you, farmers, for raising just demands through peaceful protests. Hope you will happily return to be with your families on the Parkash Purab of Sri Guru Nanak Dev Ji today.— sonu sood (@SonuSood) November 19, 2021
एक यूजर ने ट्विटर पर लिखा, ‘उप चुनावों की हार ने मोदी जी को बहुत कुछ सीखा दिया, पहले पेट्रोल डीजल की कीमतें कम, अब तीनों किसान कानून वापिस लेने पड़े,.झुकती है दुनिया झुकाने वाला चाहिए।
भक्त कहते थे मोदी है नही झुकेगा ,
‘झुकती है दुनिया झुकाने वाला चाहिए’
यूपी चुनाव में हार देखते हुए तीनों कृषि क़ानून वापस लिए गए ।
हक की लड़ाई में
दिल्ली के रास्ते के बैरियर
पानी और लाठियों की बौछार
आढ़ती, खालिस्तानी, अलगाववादी के टैग,
देशद्रोह के केस,
CM, मंत्रियों के भड़काऊ बयान,
करनाल, अंबाला, हिसार, लखीमपुर में सरकारी जुल्म
700 शहादत और लाखों किसान एक साल से बेघर। #FarmLaws #NeverForget
— Rofl McAdams (@RoflGandhi_) November 19, 2021
वहीं, एक यूजर ने लिखा, ‘कृषि आंदोलन में शहीद हुए 700 से ज्यादा किसानों को नमन, आपकी कुर्बानी व्यर्थ नहीं गई, मोदी को आखिरकार झुकना ही पड़ा, किसान एकता जिंदाबाद! इंकलाब जिंदाबाद!’
The government has decided to repeal all the three Farm Laws: PM
Modi#FarmLaws#NarendraModi pic.twitter.com/UWC8wOxxDU— Pradeep Singh (@Pradeep16930865) November 19, 2021
कृषि कानून पर बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने सरकार के इस फैसले पर ट्वीट करके कहा, “ये किसानों की जीत है। इस लड़ाई में हिस्सा लेने वाले किसानों को बधाई । हर किसानों को हार्दिक बधाई”
My heartfelt congratulations to every single farmer who fought relentlessly and were not fazed by the cruelty with which @BJP4India treated you. This is YOUR VICTORY!
My deepest condolences to everyone who lost their loved ones in this fight.#FarmLaws
— Mamata Banerjee (@MamataOfficial) November 19, 2021
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने भी केंद्र सरकार के इस फैसले का स्वागत किया। केजरीवाल ने कहा कि आज प्रकाश पर्व के दिन कितनी बड़ी खुशखबरी मिली है। केजरीवाल ने कहा कि आखिरकार सरकार को किसानों के आगे झुकना पड़ा। केजरीवाल ने किसानों के प्रदर्शन को दुनिया का सबसे शांतिपूर्ण आंदोलन बताया।
किसानों ने आज़ादी के दीवानों की तरह लड़ाई लड़ी और जीते।
किसानों के प्रबल साहस के आगे Water Cannon का पानी सूख गया, सरकार की लाठियां टूट गई, कीलें गल गई। लेकिन सरकार किसानों का आत्मविश्वास और जज़्बा नहीं तोड़ पाई।
– CM @ArvindKejriwal #FarmLaws pic.twitter.com/prdX1NdQwd
— AAP (@AamAadmiParty) November 19, 2021
मोदी सरकार के फैसले पर अखिलेश यादव ने ट्वीट करके कहा कि, “भाजपा ने भूमिअधिग्रहण व काले कानूनों से गरीबों-किसानों को ठगना चाहा। कील लगाई, बाल खींचते कार्टून बनाए, जीप चढ़ाई लेकिन सपा की पूर्वांचल की विजय यात्रा के जन समर्थन से डरकर काले-कानून वापस ले ही लिए। भाजपा बताए सैंकड़ों किसानों की मौत के दोषियों को सज़ा कब मिलेगी।
अमीरों की भाजपा ने भूमिअधिग्रहण व काले क़ानूनों से ग़रीबों-किसानों को ठगना चाहा। कील लगाई, बाल खींचते कार्टून बनाए, जीप चढ़ाई लेकिन सपा की पूर्वांचल की विजय यात्रा के जन समर्थन से डरकर काले-क़ानून वापस ले ही लिए।
भाजपा बताए सैंकड़ों किसानों की मौत के दोषियों को सज़ा कब मिलेगी।
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) November 19, 2021
जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने फैसले पर कहा कि सरकार की नीयत अच्छी हो जाने के चलते यह फैसला नहीं आया है बल्कि यह उपचुनावों के नतीजे बीजेपी के पक्ष में नहीं आने के चलते लिया गया है। उन्होंने कहा कि सरकार सिर्फ चुनावी गणित के हिसाब से फैसले करती है और पश्चिमी यूपी व पंजाब में खराब प्रदर्शन के डर से यह फैसला लिया है।
Anyone who believes the government repealed the #FarmLaws out of the goodness of its heart is completely mistaken. This government only responds to cold hard numbers – bypoll setback = fuel price reduction. Poor internal polls numbers for Western UP & Punjab = #Farmlawsrepealed
— Omar Abdullah (@OmarAbdullah) November 19, 2021