आप को इतिहास में हमेशा सम्मान के साथ याद किया जाएगा : नायब शाही इमाम
मेराज़ आलम ब्यूरो रिपोर्ट
पंजाब लुधियाना, 20 मार्च 1929 को लुधियाना में मौलाना अब्दुल्लाह के घर जन्मे हमजा का बीती शाम पाकिस्तान पंजाब के गोजरा शहर में 92 वर्ष की उमर में निधन हो गया है, हमजा 2015 में आखरी बार लुधियाना आए थे और उन्हें शाही इमाम पंजाब मौलाना हबीब उर रहमान सानी लुधियानवी की ओर से ऐतिहासिक जामा मस्जिद में फखर-ए-लुधियाना अवार्ड से सम्मानित किया गया था। वर्णनयोग है कि हमजा ने अपनी शिक्षा वेट गंज लुधियाना में इस्लामिया स्कूल से शुरू की और फिर लुधियाना गवमेंट कॉलेज फॉर बॉयज में 1947 तक पढ़ते रहे और फिर देश के विभाजन की वजह से आप ने अपनी पढ़ाई का आखरी साल लाहौर विश्व विद्यालय में पूरा किया। हमजा का संबंध देश के प्रसिद्ध स्वतंत्रता सेनानी मौलाना हबीब उर रहमान लुधियानवी प्रथम के परिवार से है हमजा मौलाना के भतीजे थे, आप ने पाकिस्तान पंजाब के गोजरा शहर से जन सेवा शुरू की और फिर आप 1957 से लेकर 2016 तक एक बार पंजाब असंबली के सदस्य (एम.एल.ए) पांच पर पाकिस्तानी पार्लिमेंट के मेंबर ,(एम.पी) रहे। पाकिस्तान अकाउंट कमेटी के भी वर्षों चेयरमैन रहे। सादे सुभाव के हमजा हमेशा बेदाग छवि के मालिक रहे, आप इस्लामाबाद में सेशन के दिनो में अपने आवास से पार्लिमेंट हाउस तक हमेशा साइकिल पर जाया करते थे, लुधियाना शहर से आपको बड़ी मुहब्बत दी, अक्सर कहा करते थे कि मुझे अपनी मात्र भूमि छूट जाने का बड़ा गम है जिसे कभी भुला नहीं पाया, हमजा के निधन पर आज लुधियाना जामा मस्जिद में शोक सभा का आयोजन कर उनके लिए दुआ करवाई गई। इस अवसर पर नायब शाही इमाम मौलाना मुहम्मद उस्मान रहमानी लुधियानवी ने बताया कि आप शाही इमाम पंजाब मौलाना हबीब उर रहमान सानी लुधियानवी के मामा जी थे, 2015 में अपने छोटे बेटे इकरमा हमजा के साथ लुधियाना आए थे और एक सप्ताह यहां घर पर रह कर शहर में अपनी यादों को ताजा किया और इस्लामिया स्कूल व गवर्मेंट कॉलेज फॉर बॉयज भी गए थे, जहां कॉलेज की ओर से आपका सम्मान भी किया गया था, उस्मान लुधियानवी ने बताया कि आपकी नमाज़-ए-जनाजा आज गोजरा शहर के गवर्मेंट डिग्री कॉलेज फॉर बॉयज में हुई।