विभिन्न विपक्षी नेताओं ने केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार को निरंकुश बताते हुए आरोप लगाया है कि वह विपक्ष की आवाज़ को अलोकतांत्रिक तरीके से दबा रही है.
नई दिल्ली: किसान बिल को लेकर राज्यसभा (Rajya Sabha) में हुए हंगामे के बाद आठ विपक्षी सांसदों को निलंबित किए जाने पर सरकार को कड़ी आलोचना का सामना करना पड़ रहा है, और विभिन्न विपक्षी नेताओं ने केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार को निरंकुश बताते हुए आरोप लगाया है कि वह विपक्ष की आवाज़ को अलोकतांत्रिक तरीके से दबा रही है. कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने कहा कि लोकतांत्रिक भारत की आवाज़ दबाना जारी है, सरकार का घमंड पूरे देश के लिए आर्थिक संकट लाया है.
राहुल गांधी ने अपने ट्वीट में लिखा, “लोकतांत्रिक भारत की आवाज़ दबाना जारी : शुरुआत में उन्हें चुप किया गया, और बाद में काले कृषि कानूनों को लेकर किसानों की चिंताओं की तरफ से मुंह फेरकर संसद में सांसदों को निलंबित किया गया… इस ‘सर्वज्ञ’ सरकार के कभी खत्म नहीं होने वाले घमंड की वजह से पूरे देश के लिए आर्थिक संकट आ गया है…”
इससे पहले, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सांसदों के निलंबन को लेकर मोदी सरकार की कड़ी आलोचना की थी. ममता बनर्जी ने अपने ट्वीट में लिखा, “किसानों के हितों की रक्षा के लिए लड़ने वाले आठ सांसदों का निलंबन दुर्भाग्यपूर्ण है, और इस निरंकुश सरकार की सोच का परिचायक है कि वह लोकतांत्रिक नियमों और सिद्धांतों का सम्मान नहीं करती… हम नहीं झुकेंगे और इस फासीवादी सरकार से संसद में और सड़कों पर लड़ेंगे…